नीरज सिसौदिया, बरेली
शिवपाल यादव की प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के साथ आगामी विधानसभा चुनाव में गठबंधन को लेकर अखिलेश यादव ने एक निजी चैनल को दिए गए साक्षात्कार में चुप्पी तोड़ दी है. इस दौरान अखिलेश ने जहां बड़े दलों के साथ गठबंधन की संभावनओं को सिरे से खारिज कर दिया वहीं प्रगतिशील समाजवादी पार्टी को साथ लेकर चलने की बात स्पष्ट रूप से कही. साथ ही आम आदमी पार्टी के साथ भी गठबंधन करने के संकेत दिए.
अखिलेश यादव से जब पूछा गया कि वर्ष 2017 में उन्होंने कांग्रेस के साथ गठबंधन किया था और वर्ष 2019 में बहुजन समाज पार्टी के साथ गठबंधन कर लोकसभा चुनाव लड़ा था. क्या वर्ष 2022 में भी वह इन दलों से गठबंधन करेंगे? इस पर जवाब देते हुए अखिलेश ने कहा, “दोनों दलों के साथ हमारा अनुभव अच्छा नहीं रहा. उन दलों को तो हमसे लाभ हुआ पर हमारे तो परिवार के लोग भी नहीं जीत सके. बहुजन समाज पार्टी जो जीरो पर थी उसे लोकसभा में दस सीटें मिल गईं. ये बड़े दल सीटें बहुत ज्यादा मांगते हैं और हारते भी ज्यादा हैं. इसलिए समाजवादी पार्टी इस बार सिर्फ छोटे दलों को साथ लेकर चलेगी. छोटे दलों ने भी अच्छा काम किया है.”
जब उनसे पूछा गया कि शिवपाल यादव से उनकी कोई बात चल रही है तो अखिलेश ने कहा, “चाचा का एक दल है और उनके दल को भी साथ लाने का काम समाजवादी पार्टी करेगी. क्योंकि चाचा का दल भी छोटा दल है इसलिए उनके साथ भी समाजवादी पार्टी बात करेगी. उनके लिए जसवंत नगर की सीट हम पहले ही छोड़ चुके हैं. आगे भी बात की जाएगी.”
अखिलेश के इस बयान से यह तो तय हो चुका है कि प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के साथ समाजवादी पार्टी गठबंधन करेगी. ऐसे में बरेली में बिथरी चैनपुर की सीट से प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के प्रदेश मुख्य महासचिव वीरपाल सिंह यादव का टिकट तय है. वहीं कैंट सीट और डा. मो. खालिद के गठबंधन का उम्मीदवार बनने की भी संभावनाएं प्रबल हो गई हैं.
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