क्या मजा है
इस होली में
एक कीचड़ उछाले
दूसरे पर
दूसरा कहे
मेरे
“दाग अच्छे हैं “
पाक साफ कोर्ई नहीं
पर हंगामा करे जो जोर जोर
उसके
“दाग अच्छे हैं “
सच्चाई,अच्छाई से वास्ता
किसी का नहीं
पर सच पर पडे जो भारी
बोल कर
झूठ पर झूठ जोर जोर
उसके
“दागअच्छे हैं”
आवाम की कसौटी पर
कस जाओगे जिस दिन
सच सामने आ जाएगा
ऐ,भ्रम के जादूगरों
कि किसके
“दाग अच्छे हैं “
रचयिता – डा. कौशल कुमार