हरियाणा

बसों की कमी से लोगों को हो रही है अपने गंतव्य तक पहुंचने में कठिनाई

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कैथल, ( ओहरी )

अपने आरामदायक सफर के लिए विश्वविख्यात हरियाणा रोडवेज आजकल बहुत बुरे दौर से गुजर रही है। पिछले दिनों रोडवेज कर्मचारिओं की हड़ताल के बाद से ही इस में तंगी आ रही है। अगर हम कैथल डिप्पो की बात करें तो कैथल डिप्पो में आज कल यात्रियों को अपने अपने गंतव्य तक पहुंचने के लिए बहुत कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। गौरतलब है कि पिछले दिनों रोडवेज़ कर्मचारियों की हड़ताल के बाद रोडवेज़ ने अपने कर्मचारियों का ओवरटाइम खत्म कर दिया था और ड्राइवर व कंडक्टर का पांच दिवसीय ड्यूटी कर दी थी। इस कारण रोडवेज में इन की कमी महसूस की जा रही है। रोडवेज ने ड्राइवर व कंडक्टर के इंटरव्यू भी लिए थे पर अब तक इन की पूरी भर्ती नहीं हो पाई है।

ओवरटाइम खत्म होने के कारण लंबी दूरी की बसों ने अपने फेरे कम कर दिए हैं और 8 घण्टे में जितनी दूरी तय हो रही है उतना काम ही कर रहे हैं। इस का खामियाजा बेकसूर जनता को भुगतना पड़ रहा है। वैसे रोडवेज के जर्नल मैनेजर ने कहा है की कोई कर्मचारी ड्यूटी में कोताही नहीं बरतेगा और अपनी पूरी ड्यूटी देगा परन्तु बिना ओवरटाइम के कर्मचारी ड्यूटी नहीं दे रहे हैं और जनता परेशान हो रही है।असली दिक्कत तो 4 बजे के बाद आती है जब ऑफिस के टाइम खत्म होने के बाद रेलवे का समय ना होने के कारण बसों में रश बढ़ जाता है। अगर रेलवे की बात करें तो कैथल से कुरुक्षेत्र के बीच दोपहर 2. 45 के बाद रात 8 बजे ही रेल का टाइम है और इस बीच जनता को बसों का सहारा ही है। जनता को 2 -3 घंटे के ईंतजार के बाद बस मिल रही है और इस समय यात्रियों की संख्या बढ़ जाती है और बसों में 3 गुना रश भर कर जाता है। रोडवेज भी बिना किसी पूर्वसूचना के बसों के समय बदल देता है या बसें कैंसिल कर देता है। सबसे ज्यादा परेशानी कुरुक्षेत्र ओर करनाल के यात्रियों को होती है।

https://youtu.be/v27eL8d1-nI

दूसरी तरफ कुरुक्षेत्र में गीता जयन्ती के कार्यक्रम भी शुरू हो गए है। गीता जयंती के समय लाखों की संख्या में लोग कुरुक्षेत्र गीता जयंती देखने जाते हैं। इस समय बसों के फेरे बढ़ जाते है परन्तु मौजूदा हालात को देखते हुए लग रहा है की इस बार गीता जयंती पर आने जाने वाले दर्शकों को सफर में बहुत तंगी होने वाली है।

इस बारे में जब यात्रियों से बात की तो यात्रियों सुरेश , विष्णु , किशोर ने सरकार को बुरा भला कहते हुए कहा कि खट्टर सरकार रोडवेज की बात ना मान कर गलत कर दिया है । जनता सेंटर में तो मोदी सरकार की बात करते हैं परंतु प्रदेश में खट्टर सरकार से दुखी है और सरकार बदलने की बात कर रहे है। दूसरी तरफ कुछ लोग सरकार की इस पहल को सही मान रहे है की सरकारी कर्मचारिओं की मांगे बढ़ती जा रही है। इनकी मांगे मानने से बोझ तो आम जनता पर ही पड़ता है। इन के ख़र्चे आम जनता से ही अधिक टेक्स के रूप में जाते है अतः इन की नाजायज मांगो को नहीं मानना चाहिए। वैसे भी सरकार 720 प्राइवेट बसें चला ही रही है इस का फायदा आम जनता को ही होगा। जब तक इस का फैसला नहीं होता तंगी तो हो रही है पर कर भी क्या सकते हैं।

हरियाणा सरकार ने हाल ही में कर्मचारी चयन आयोग के माद्यम से 905 नियमित परिचालकों की नियुक्ति की है पर इस में से कैथल डिप्पो को कोई परिचालक नहीं मिला है इस पर कैथल डिप्पो के जी एम् रामकुमार ने बताया की कैथल डिप्पो के बेड़े में 130 बसे और 244 परिचालक हैं परन्तु इस भर्ती में हमें अन्य कोई परिचालक नहीं मिला है। कैथल के विद्यायक रणदीप सिंह सुरजेवाला ने भी सरकार पर परिचालक ना मिलने पर सरकार पर सौतेला व्यवहार करने का आरोप लगाया है परन्तु भाजपा विद्यायक अशोक गुर्जर ढांड ने बताया की सरकार ने आवश्यकता अनुसार हर डिप्पो में परिचालक दिए है और कैथल डिप्पो में पहले से ही 130 के पीछे 244 परिचालक हैं इस कारण कैथल डिप्पो को परिचालक नहीं मिल पाया है। कैथल के साथ कोई भेदभाव नहीं हुआ है। कैथल डिप्पो के बसों के फेरे भी बढ़ा दिए गए हैं। और जो समस्याएं अभी आ रही हैं सरकार जनता को हो रही समस्या का समाधान जल्द ही निकालेगी।

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