नई दिल्ली : सर्वोच्च न्यायालय ने उत्तर प्रदेश सुन्नी वक्फ बोर्ड से विश्व धरोहर ताजमहल पर अपना मालिकाना हक साबित करने के लिए दस्तावेज दिखाने को कहा है।
सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा, जस्टिस एएम खानविलकर व डीवाई चंद्रचूड़ की तीन सदस्यीय पीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए कहा है कि मुगल बादशाह शाहजहां ने अपनी मरहूम बेगम मुमताज की याद में 1631 में ताजमहल का निर्माण किया था। अगर मुगल बादशाह शाहजहां ने बोर्ड के पक्ष में वक्फनामा कर दिया था तो इस दावे के लिए दस्तावेज शीर्ष अदालत के समक्ष पेश किए जाएं।
कोर्ट ने कहा कि जब विश्व धरोहर ताजमहल पर मालिकाना हक के दस्तावेज सुन्नी वक्फ बोर्ड पेश कर देगा तो उसका मालिकाना हक मान लिया जाएगा।
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