पंजाब

बलदेव सिंह देव के बाद क्या प्रदीप राय व निम्मा को भी मिलेगा वफादारी का ईनाम? जिला कांग्रेस कार्यकारिणी में मिल सकता है यह पद…

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नीरज सिसौदिया, जालंधर
वरिष्ठ कांग्रेस नेता बलदेव सिंह देव के जिला कांग्रेस अध्यक्ष बनने के बाद अब उनके साथी एवं पूर्व पार्षद प्रदीप राय को लेकर भी कयासों का दौर शुरू हो चुका है| माना जा रहा है कि बलदेव सिंह देव अब प्रदीप राय को भी जिला कार्यकारिणी में अहम पद दिलवाने की तैयारी कर रहे हैं| अगर ऐसा हुआ तो यह उन लोगों की सियासत पर करारा तमाचा होगा जो बलदेव सिंह देव को शहरी जिला प्रधान बनाने का विरोध कर रहे थे|

निर्मल सिंह निम्मा

दरअसल, बलदेव सिंह देव और प्रदीप राय का याराना आज का नहीं बल्कि उस वक्त का है जब बलदेव सिंह देव भारतीय जनता पार्टी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हुए थे और पार्षद बन गए थे| प्रदीप राय भी पहली बार पार्षद बने थे| दोनों हेनरी के कट्टर समर्थक हैॅ और नगर निगम में भी सुशील रिंकू के डायनामिक ग्रुप के विरोध में राजा गुटका हिस्सा रहे हैं| इस गुट में तीन मुख्य सियासत दान जगदीश राज राजा के अलावा थे| इनमें बलदेव सिंह देव प्रदीप राय और निर्मल सिंह निम्मा का नाम सबसे ऊपर था| इस ग्रुप की ओर से जारी होने वाले ज्यादातर प्रेस नोट और बयानों की रणनीति निम्मा ही तैयार किया करते थे। निर्मल सिंह और उनकी पत्नी तीन बार से लगातार पार्षद हैं। यही वजह थी कि निम्मा सीनियर डिप्टी मेयर और डिप्टी मेयर पद के प्रबल दावेदार भी थे|

बलदेव सिंह देव

बलदेव सिंह देव और प्रदीप राय वार्ड बंदी का शिकार हो गए| साथ ही उन्होंने पार्टी विधायक सुशील कुमार रिंकू पर टिकट कटवाने का आरोप लगाया था| दोनों नेताओं ने खुलकर सुशील रिंकू का विरोध किया था| उस वक्त तो हेनरी गुटके यह दोनों नेता खुद को ठगा महसूस कर रहे थे लेकिन वक्त ने उनके जख्मों पर ऐसा मरहम लगाया कि विरोधियों के जख्म हरे हो गए। बलदेव सिंह देव को कांग्रेस शहरी जिला प्रधान बनानेे के बाद सुशील रिंकू के समर्थक मेजर सिंह ने विरोध के सुर बुलंद किए लेकिन मेजर सिंह की आवाज भी उसी तरह दबकर रह गई जिस तरह से कभी बलदेव सिंह देव और प्रदीप राय का विरोध दबा दिया गया था|

सूत्रों की माने तो बलदेव सिंह देव को जिला प्रधान बनाने के बाद अब प्रदीप राय को भी जिला कार्यकारिणी में अहम पद देने की कवायद तेज हो गई है| उन्हें इस पार्टी में सीनियर वाइस प्रेसिडेंट या वाईस प्रेजिडेंट जैसी अहम जिम्मेदारी सौंपी जा सकती है| इसी कड़ी में निम्मा का नाम भी सामने आ रहा था लेकिन सूत्र बताते हैं कि निर्मल सिंह जिला प्रधान बनना चाहते थे| इसलिए जिला कार्यकारिणी में वह कोई अहम पद लेंगे या नहीं यह अभी तय नहीं हो पाया है| माना जा रहा है कि जिला कार्यकारिणी में बलदेव सिंह अपने मजबूत साथियों को जगह देने के इच्छुक है और निर्मल सिंह को भी इसमें शामिल किया जा सकता है| अगर निर्मल सिंह निम्मा, बलदेव सिंह देव और प्रदीप राय की तिकड़ी कांग्रेस जिला कार्यकारिणी का हिस्सा बनती है तो आगामी लोकसभा चुनाव में कांग्रेस उम्मीदवार को इसका खासा फायदा होगा|

क्योंकि रिंकू समर्थक पहले ही यह चेतावनी दे चुके हैं कि देव को जिला प्रधान बनाने का खामियाजा लोकसभा चुनाव में भुगतना पड़ेगा. ऐसे में अगर देव के समर्थकों को भी जिला कार्यकारिणी में जगह नहीं दी गई तो वह भी विरोध में उतर जायेंगे. अगर ऐसा हुआ तो देव अकेले पड़ जायेंगे जिसका नुकसान कांग्रेस को लोकसभा चुनाव में हार के रूप में भुगतना पड़ सकता है और हार का सारा ठीकरा देव पर मढ़ दिया जाएगा. ऐसे में देव के लिए भी यह जरूरी है कि उनके विश्वसनीय साथियों को जिला कार्यकारिणी के अहम पदों पर नियुक्त किया जाये.

निर्मल सिंह किस शहर में अच्छी पकड़ है और वह राजघराने से भी ताल्लुक रखते हैं| साथ ही निर्मल सिंह जमीन से जुड़े लोगों के बीच भी खासे लोकप्रिय हैं| कांग्रेस ही नहीं बल्कि कुछ अकाली नेताओं के भी काफी चहेते हैं। यही वजह है कि कभी भी अकाली दल का उम्मीदवार निर्मल सिंह को परास्त नहीं कर पाया| अगर इन दोनों नेताओं को जिला कार्यकारिणी में जगह मिलती है तो यह सुशील रिंकू गुट के लिए बड़ा झटका होगा और अवतार हेनरी ग्रुप और अधिक मजबूत हो जाएगा|

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