नीरज सिसौदिया, बरेली
हिन्दुस्तान की सियासत में सलीम शेरवानी का नाम किसी परिचय का मोहताज नहीं है। वह उत्तर प्रदेश की बदायूं लोकसभा सीट से पांच बार सांसद रहे। साथ ही दो बार उन्होंने केंद्रीय मंत्री के पद को भी सुशोभित किया। रविवार को समाजवादी पार्टी ने उन्हें राष्ट्रीय महासचिव नामित किया है। 22 मार्च वर्ष 1953 को इलाहाबाद (अब प्रयागराज) में एमआर शेरवानी और तारा शेरवानी के घर जन्मे सलीम का पूरा नाम सलीम इकबाल शेरवानी है। एक सफल और कुशल राजनीतिज्ञ होने के साथ ही वह एक सफल उद्योगपति भी हैं। वर्ष 1984 में बदायूं संसदीय क्षेत्र से पहली बार लोकसभा का सफर तय करने वाले सलीम शेरवानी 8वीं, 11वीं, 12वीं, 13वीं और 14वीं लोकसभा के सदस्य भी रहे हैं। इनमें चार बार वह समाजवादी पार्टी से जबकि एक बार कांग्रेस के टिकट पर सांसद बने। वर्ष 1996 में उन्हें केंद्र सरकार में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री बनाया गया। इसके बाद वर्ष 1997 में उन्हें एक्सटर्नल अफेयर्स राज्य मंत्री बनाया गया। सलीम शेरवानी पहली बार कांग्रेस के टिकट पर लोकसभा पहुंचे थे। बाबरी विध्वंस के बाद उन्होंने समाजवादी पार्टी का दामन थाम लिया था।

सलीम शेरवानी समाजसेवा के क्षेत्र में भी काफी सक्रिय रहते हैं। यह जज्बा उन्हें अपने पिता मरहूम मुस्तफा राशिद शेरवानी और मां मरहूम तारा राशिद शेरवानी से विरासत में मिला था। उनके माता पिता ने दो दिसंबर 1968 को भारत सेवा ट्रस्ट की स्थापना की थी। इसके माध्यम से वह गरीब एवं जरूरतमंद लोगों की सेवा का कार्य करते हैं। वर्तमान में सलीम इकबाल शेरवानी इस ट्रस्ट के चेयरमैन हैं और अहमद राशिद शेरवानी इसके मैनेजिंग ट्रस्टी हैं। इसके माध्यम से सलीम शेरवानी गरीब बच्चों की शिक्षा में सहायता प्रदान करते हैं। उनके स्कूल एवं कॉलेज की फीस की व्यवस्था करते हैं। उनकी उच्च शिक्षा का इंतजाम करते हैं और उन्हें स्कॉलरशिप की सुविधा भी मुहैया कराते हैं। टीचर्स को सम्मानित करते हैं खेल सहित विभिन्न गतिविधियों के लिए भी जरूरतमंद बच्चों की मदद करते हैं। इतना ही नहीं वह बुजुर्गों के इलाज में भी मदद करते हैं। सबसे बड़ी बात यह है कि इस ट्रस्ट का पूरा खर्च सलीम शेरवानी की ओर से अपनी आमदनी से वहन किया जाता है। वह सरकार से इसके लिए कोई वित्तीय सहायता नहीं लेते हैं। इसी तरह वह शेरवानी चैरिटेबल ट्रस्ट के नाम से भी एक गैर सरकारी संगठन चलाते हैं जिसका कार्यालय कानपुर रोड, इलाहाबाद में स्थित है। यह गरीब तबके को वित्तीय सहायता प्रदान करने के साथ ही स्कूल, कॉलेज, मदरसा, एनजीओ आदि को भी आर्थिक रूप से मदद करता है। यह ट्रस्ट प्रतिभावान गरीब छात्रों को इंजीनियरिंग और मेडिकल जैसे प्रोफेशनल कोर्सेज की पढ़ाई के लिए भी आर्थिक सहायता प्रदान करता है। साथ ही गरीब बेटियों के विवाह में भी मदद करता है।
इतना ही नहीं, करीब दो सौ से तीन सौ विधवा एवं गरीब महिलाओं को सलीम शेरवानी की ओर से मासिक पेंशन भी प्रदान की जाती है। उन्हें सिलाई मशीन भी दी जा चुकी है ताकि वे अपना रोजगार कर आगे बढ़ सकें। यही वजह है कि सलीम शेरवानी जनता के बीच काफी लोकप्रिय हैं।
बरेली के वरिष्ठ सपा नेता इंजीनियर अनीस अहमद खां ने सलीम इकबाल शेरवानी को सपा का राष्ट्रीय महासचिव बनाने पर पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव का शुक्रिया अदा किया है। इंजीनियर अनीस अहमद खां सलीम इकबाल शेरवानी के काफी करीबी माने जाते हैं। उन्होंने नई जिम्मेदारी मिलने पर सलीम शेरवानी को मुबारकबाद दी है। उन्होंने कहा कि सलीम शेरवानी जैसे समाजसेवी और साफ-सुथरी छवि के निर्विवादित चेहरे को राष्ट्रीय महासचिव जैसे अहम पद की जिम्मेदारी देने से संगठन को मजबूती मिलेगी। उनका राजनीतिक अनुभव पार्टी को आगे ले जाने में अहम भूमिका निभाएगा। उन्होंने पूरी राष्ट्रीय कार्यकारिणी को बधाई देते हुए कहा कि नई कार्यकारिणी के नेतृत्व में आगामी लोकसभा चुनाव में पार्टी नया इतिहास रचेगी। प्रदेश की सभी 80 सीटों पर समाजवादी पार्टी जीत का परचम लहराएगी।